रीतु प्रज्ञा      करजापट्टी , दरभंगा, बिहार

दिनांक-18-03-2020
विषय-सावधान


रहो सावधान हरदम प्राणि,
पढ़, लिखकर बनो ज्ञानी।
स्वच्छता का रखो ध्यान,
दीर्घायु होगा आपका प्राण।
समझकर निकालो शब्द म्यान,
मधुर वाणी बनाए महान।
मत बहाओ फिजूल पानी,
होगी तुम्हें ही परेशानी।
नियम याद रखना यार,
दाएं-बाएं देख सड़क पार।
रहो सर्वत्र हरपल चौकन्ना,
पूरी होगी सब तमन्ना।
मत बनना उल्लू कभी,
सबकी बचाना संपत्ति सभी।
हर क्षेत्र लाओ वसंत,
दुश्मनों को करो पस्त,
सत्संग करो हमेशा संत,
आँगन आएगी खुशियाँ अनंत। 
           रीतु प्रज्ञा
     करजापट्टी , दरभंगा, बिहार
स्वरचित एवं मौलिक


कोई टिप्पणी नहीं:

Featured Post

गीत- दिन से क्या घबराना दिन तो आते जाते हैं....... दयानन्द त्रिपाठी व्याकुल

गीत- दिन से क्या घबराना दिन तो आते जाते हैं....... चुप्पी  के   दिन खुशियों के दिन भीगे सपनों की बूंदों के दिन, आते जाते हैं, दि...