मन्शा शुक्ला

परम पावन मंच का सादर नमन
              सुप्रभात
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सुमिरन  करूँ  वीर  हनुमाना।
तजि के मन के सब अभिमाना।।
विद्या   वुद्धि   ज्ञान   प्रदाता।
अष्ट सिद्धि नव निधि के दाता।।

विनय करूँ  उर धरि विश्वासा।
पूरण कीजै प्रभु  मन आशा।।
रोग दोष भव त्रास मिटाओं।
अभय भाव सदभाव बढ़ाओं।।
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मन्शा शुक्ला
अम्बिकापुर

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